बरखा श्रीवास्तव, ग्वालियर (मप्र), NIT:
मलेरिया के इलाज की खोज को हालाँकि लगभग 30 साल हो चुके हैं, लेकिन भारत में हर साल मलेरिया के 65 लाख से अधिक मामले सामने आते हैं, जिनमें से लगभग 30 से 40 हजार लोगों की मृत्यु (3 हजार प्रति माह) हो जाती है।
सिर्फ भारत में लगभग 26,90000 TB के मरीज़ हैं और हर साल लगभग सवा दो लाख लोग TB से मर जाते हैं।
TB की दवाइया सालों से उपलब्ध हैं और सरकार उन्हें मुफ्त में भी उपलब्ध कराती है।
अगर कोरोना जैसे ही मलेरिया या TB के मामलों की खबरें और आंकड़े रोजाना मीडिया में दिए जाएं, तो लोग पागल हो जाएंगे… इस लिए आपको बस ये सीखना होगा कि कोरोना के साथ कैसे रहना/लड़ना है। वो फिर मास्क हो social distancing हो या फिर hand washing।(जैसे कि हम मलेरिया के साथ जीने के आदी हो गए हैं… ऑल-आउट, ओडोमॉस, कछुआ अगरबत्ती का उपयोग करके)
कोरोना के उपाय थोड़े अलग होंगे। लेकिन कृपया कोरोना केसों के अपडेट के चक्करों में न पड़े, अन्यथा आप जीवन का आनंद नहीं ले पाएंगे। घबराने की जरूरत नहीं है, बस कोरोना के साथ रहना सीखें।
लोगो को डराने के बजाय सावधानी से जीने और अपने सभी काम सावधानी से करने की सीख दें।
केवल मानसिक रूप से स्वस्थ व्यक्ति ही मुसीबत से निकलने का रास्ता खोज सकता है …
इसलिए स्वस्थ रहें, मस्त रहें ।
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