मेहलक़ा इक़बाल अंसारी, ब्यूरो चीफ, बुरहानपुर (मप्र), NIT:
असुरक्षित खुले छोड़े गए बोरवेल में छोटे बच्चों के गिरने की दुर्घटनाओं से बचाव के लिये शासन द्वारा बनाई जा रही व्यवस्था अंतर्गत मध्यप्रदेश राज्य इलेक्ट्रॉनिक्स विकास निगम की सहायता से मोबाईल एप विकसित किया गया है। इस मोबाईल एप के माध्यम से निम्नलिखित सुविधाएं/व्यवस्था उपलब्ध होगी।
1. प्रदेश के प्रत्येक जिले में नलकूप खनन का कार्य करने वाली निजी एवं शासकीय एजेंसियों/ठेकेदारों का पंजीयन मोबाईल एप के माध्यम से किया जाना अनिवार्य होगा। इन एजेंसियों द्वारा खनन कार्य हेतु जिला का चयन किया जाना संभव होगा।
2. सामान्य नागरिक द्वारा नये नलकूप का खनन करने हेतु मोबाईल एप के माध्यम से पंजीकृत निजी एजेंसियों में से उपयुक्त एजेंसी का चयन करके नलकूप खनन हेतु स्थान तथा समय निर्धारित कर शासन के निर्धारित विभागों को सूचना प्रेषित करना आवश्यक होगा।
3. नलकूप निर्माण कराने वाले निजी आवेदक/व्यक्ति/संस्था द्वारा नलकूप का खनन एवं निर्माण कार्य पूर्ण होने पर इसके सफल अथवा असफल होने की जानकारी तथा सफल होने पर हैण्डपंप अथवा सबमर्सिबल पंप स्थापित करने एवं असफल होने पर इस नलकूप को सुरक्षित रूप से बंद किये जाने की जानकारी अक्षांश एवं देशांतर सहित फोटोग्राफ के साथ मोबाईल एप के माध्यम से प्रेषित की जायेगी।
4. नलकूप खनन के दौरान असफल, सूखा नलकूप रह जाता है. अथवा किन्ही कारणों से उपयोग किया जा रहा नलकूप बंद होने की स्थिति में इत्यादि उसे रेत/मिट्टी/गिट्टी, नलकूप की कटिंग आदि से जमीन स्तर पर भरकर बंद करने तथा उस पर 50 से.मी. × 50 से.मी.×60 से.मी. आकार के सिमेंट क्रांकिट ब्लॉक बनाकर सुरक्षित किया जायेगा। तद्उपरांत स्थल एवं किये गये सुरक्षा का विवरण एवं फोटोग्राफ मोबाईल एप के माध्यम से नलकूप स्वामी व्यक्ति/संस्था द्वारा ऑनलाईन प्रेषित किया जायेगा।
5. सामान्य नागरिक द्वारा असुरक्षित खुले नलकूप की शिकायत मोबाईल एप तथा प्रदेश में प्रचलित सी.एम. हेल्पलाईन के माध्यम से की जा सकेगी। ऐसी शिकायत पर ग्रामीण क्षेत्रों में ग्राम पंचायत तथा नगरीय क्षेत्रों में स्थानीय नगरीय निकाय द्वारा तत्काल संज्ञान लेकर ऐसे असुरक्षित नलकूपों पर दुर्घटनाओं से बचाव के लिये सुरक्षा उपाय करवायें जायेगें।
6. पोर्टल के माध्यम से प्रदेश के नगरीय एवं ग्रामीण क्षेत्र में उपलब्ध निजी एवं शासकीय, खुले एवं बंद नलकूपों की जानकारी भी संग्रहित की जायेगी। इस हेतु प्रणाली एवं नियम शीघ्र ही निर्धारित किये जायेगें।
7. विकसित किये गये परख मोबाईल एप को दिनांक 17 अप्रैल, 2024 से ट्रायल के रुप में प्रारंभ किया गया है।
8. ट्रायल उपरांत समस्त उपयोगकर्ता विभागों के संबंधित अधिकारियों को यथोचित प्राधिकारों का प्रत्यायोजन कर एप के उपयोग के संबंध में प्रशिक्षण प्रदान कर इसे विधिवत पूर्ण रूप से प्रारंभ किया जाएगा।
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