ताहिर मिर्जा, यवतमाल ( महाराष्ट्र ), NIT; उमरखेड नगर परिषद चुनाव संपन्न होते ही हर पार्टी अपनी सत्ता बनाने में लग गई थी लेकिन बड़े उलट फेर के बाद आखिरकार बीजेपी-सेना ने आज नगरपालिका में सभी समितियों पर अपने पार्षदों की नियोक्ति कर दी है। बीजेपी की ओर से शिक्षण सभापति प्रकाश दुधेवार, बांधकाम सभापति बालासाहेब नाईक, पाणी पुरवठा सभापति दिलीप सूरते, महिला सभापति अनुप्रीयता देव तथा शिवसेना की और से नियोजन अरविन्द भोईर, आरोग्य सभापति संदीप ठाकरे को दिया गया। उसी तरह स्थाई समेती में बीजेपी के नीनत भूतड़ा, एम आए एम की ओर से गोपाल अग्रवाल तथा सेना से अमोल तिवरंगकर का समावेश है।
चुनाव होने से लेकर सरकार बनने तक कुछ एसी घटनाएं घटीं जिस की उम्मीद शायद अनेक राज नेताओं को नहीं थी। 8 सीटों के साथ अपनी मजबूत दावेदारी दिखाने वाली एम आए एम के इस प्रदर्शन से अनेक राजनीतिग हैरान रह गए। परंतु सत्ता स्थापित करने के लिए कांग्रेस के कूल माइंड कहे जाने वाले गोपाल अग्रवाल को एम आए एम की ओर से आने में सत्ताधारी बीजेपी-सेना को काफी मुश्किल हो सकती थी। इसी तरह एम आए एम पर कांग्रेस क़े साथ हाथ मिलाने को लेकर विरोधी पक्षों ने अनेक तरह के आरोप लगाए लेकिन इस बिच एक बात यह चर्चा का विषय शहर में बन गई कि जो मुस्लिम नेता हर समय बीजेपी और सेना के लिए किसी दुश्मन से कम न थी, वह सत्ता बनाने के समय उनका साथ लेने से शक के घेरे में आ गए हैं।
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