आम बजट से देशवासियों को काफी उम्मीदें थीं लेकिन इस बजट से आमजन को भारी निराशा हुई है: पूर्व मंत्री हर्ष यादव | New India Times

राकेश यादव, देवरी/सागर (मप्र), NIT:

आम बजट से देशवासियों को काफी उम्मीदें थीं लेकिन इस बजट से आमजन को भारी निराशा हुई है: पूर्व मंत्री हर्ष यादव | New India Times

देवरी विधायक व मध्यप्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री हर्ष यादव ने वर्तमान बजट को लेकर कहा है कि देश के इस आम बजट से देशवासियों को काफी उम्मीदें थीं लेकिन इस बजट से आमजन को भारी निराशा हुई है। कोरोना महामारी में ध्वस्त अर्थ-व्यवस्था को देखते हुए आमजन को राहत देने के लिए इस बजट में कोई प्रावधान नहीं किया गया है। गरीब-मध्यमवर्गीय के लिये इस बजट में कुछ नहीं है। आयकर में छूट की उम्मीद थी लेकिन छूट नहीं बढ़ायी गयी। यह बजट महंगाई बढ़ाने वाला बजट है। पेट्रोल-डीजल-रसोई गैस की बढ़ती कीमतों को देखते हुए इस बजट में करो में भारी राहत की जनता को उम्मीद थी लेकिन जनता एक बार फिर ठगी गयी है। देश का सबसे बड़ा वर्ग किसान वर्ग जो अपने हक को लेकर सड़कों पर पिछले 2 माह से अधिक समय से आंदोलन कर रहा है उसके लिए इस बजट में कुछ नहीं है, सिर्फ़ झूठे वादे, वर्षों पुराना आय दोगुनी का एक बार फिर वादा, एक तरफ़ नये कृषि क़ानूनों से मंडी व्यवस्था को ख़त्म करने का काम और आज बजट में मंडी व्यवस्था को मज़बूत करने का झूठा वादा, झूठे वादों से गुमराह करने का काम?
कोरोना महामारी के बाद बड़ी संख्या में युवा वर्ग को नौकरियों से हाथ धोना पड़ा है, युवा वर्ग के रोजगार को लेकर इस बजट में कुछ नहीं है। कई वर्षों पुरानी घोषणाओं को इस बजट में एक बार फिर दोहराने का काम किया गया है। देश नहीं बिकने दूंगा का नारा आज बदलकर सब चीज़ बेच दूँगा, यह इस बजट से भी स्पष्ट रूप से दिख रहा है। मेक इन इंडिया, डिजिटल इंडिया के पुराने नारों की तरह अब आत्मनिर्भर के नए नारे के साथ आंकड़ों की हेराफेरी कर देश की जनता को गुमराह करने का काम इस बजट में किया गया है। जो लोग एफ़डीआई का विरोध करते थे वो आज एफ़डीआई को हर क्षेत्र में लागू कर रहे हैं।
यह बजट पूरी तरह से आमजन विरोधी व निराशाजनक बजट है। आगामी समय में जनता की समस्याएं और अधिक बढ़ेंगी, मंहगाई चरम पर होगी। यह बजट मात्र चंद बड़ी कम्पनियों को फायदा पहुंचाने वाला है।


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By nit

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