गणेश मौर्य, अंबेडकरनगर (यूपी), NIT:
अंबेडकरनगर जिले में रासायनिक उर्वरक, दवाओं व बीज में काफी अरसे से मिलावट खोरी होती चली आ रही है जिसका किसान उपयोग करते आ रहे हैं और मिलावट के के चलते उनके उत्पादन पर प्रभाव पड़ रहा है। ऐसे ही मामले में शहजादपुर स्थित दुकानदार सेे भुक्तभोगी किसान परेशान होकर विभागीय अधिकारियों से लेकर डीएम से गुहार लगा रहे हैं फिर भी दोषियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं हो रही है।
ज्ञात हो कि सरकार द्वारा इस मिलावट खोरी को रोकने में हर साल कृषि विभाग के अधिकारियों व स्थानीय प्रशासन को जांच कराने का आदेश होता आ रहा है किन्तु इसमें लापरवाही व अनदेखी के चलते इस गोरख धंधे में शामिल व्यापारियों के हौसले बुलंद हैं और किसानों को ठगी का शिकार बना रहे हैं।
गेंहू व धान की रोपाई के लिए किसानों को रासायनिक उर्वरक, कीटनाशक दवाओं व बीज की जरूरत होती है और उन्हे सरकारी दुकानों से उलब्धता न हो पाने से प्राइवेट ही सहारा बनते हैं। इन दुकानदारों द्वारा किये जा रहे उर्वरक, दवा व बीज में काफी अरसे से धांधली होती आ रही है। खून और पसीने की कमाई से किसान फसल का उत्पादन बेहतर हो, इस गरज से अच्छे किस्म की प्रजाति के बीज आदि की तलाश करता है किन्तु इसमें उसे अधिकांश धोखा ही होता रहता है।
शिकायतें भी भुक्तभोगी किसान करते हैं किन्तु विभागीय अधिकारियों व प्रशासन द्वारा अमल न किये जाने से इस पर अंकुश नहीं लग पा रहा है। ऐसा ही मामला जिला मुख्यालय के अकबरपुर नगर स्थित जुड़वा कस्बा शहजादपुर के मालीपुर रोड का सामने आया है।
मौर्या बीज भण्डार के नाम से चर्चित दुकान से थाना बेवाना अन्तर्गत सिसवां निवासी विश्राम निषाद ने गोभी, मूली में उग रहे खरपतवार की सुरक्षा मंे दवा की खरीद किया और दूसरे ही दिन उसका छिड़काव किया तो उसके उपरान्त 15 बिस्वा की फसल ही पूरी तरह झुलस गयी। किसान के अनुसार फोकस, प्रोफेक्स सुपर जिग्गी दवा को दुकानदार ने दिया था जिसके द्वारा बताया गया था कि इसके छिड़काव करते ही फसल अच्छी हो जायेगी और खरपतवार नष्ट हो जायेगा।
इस पर भरोसा करके दवा ले गया और प्रयोग किया तो फसल ही झुलस गयी, जब शिकायत करने गया तो दुकानदान ने कुछ सुनने के बजाय अभद्रता कर भगा दिया। गत दिवस भुक्तभोगी किसान प्रतिष्ठान के पास पहुॅचा और दुकानदार की कार्यशैली से फूट-फूट कर रोने लगा और कहां कि अब तो बर्बाद ही हो गये हैं लेकिन पीछा नहीं छोड़ेंगे। कृषि विभाग से लेकर डीएम व मानवाधिकार को शिकायती पत्र भेजेंगे फिर भी न्याय नही मिला तो इसी दुकान के सामने व कलेक्ट्रेट के समक्ष परिवार के साथ भूख हड़ताल करेंगे।
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