दिव्यांग की मौत का कारण बन गई हरगांव थाने की पुलिस, मृतक के पुत्र ने किया था प्रेम विवाह,4 दिनों तक हरगांव थाने में बन्द रहे लड़का एवं लड़की | New India Times

वी.के. त्रिवेदी, ब्यूरो चीफ, लखीमपुर खीरी (यूपी), NIT:

दिव्यांग की मौत का कारण बन गई हरगांव थाने की पुलिस, मृतक के पुत्र ने किया था प्रेम विवाह,4 दिनों तक हरगांव थाने में बन्द रहे लड़का एवं लड़की | New India Times

एक नवयुवक को एक लड़की से प्रेम सम्बन्ध में शादी करना उस समय महंगा पड़ गया जब लड़की के परिजनों ने लड़के के पिता से एक लाख रुपये की मांग कर दी। गरीबी के कारण युवक के पिता पैसों का प्रबंध नहीं कर सका तो चुपचाप घर के अंदर फांसी लगाकर अपनी जीवन लीला समाप्त कर ली। ताजा मामला लखीमपुर खीरी के मोहल्ला कनौजिया कॉलोनी पिपरिया कोतवाली सदर क्षेत्र का है जहाँ मृतक महेश सिंह दिव्यांग पुत्र स्वर्गीय छोड़कऊ सिंह को आत्महत्या के लिए प्रताड़ित करने का आरोप उनकी पत्नी लक्ष्मी देवी (नेत्रहीन) पत्नी स्वर्गीय महेश सिंह (दिव्यांग) निवासी मोहल्ला कनौजिया कॉलोनी पिपरिया के द्वारा लगाया गया है।

मृतक महेश सिंह की पत्नी ने बताया है कि मेरे पति जो पेशे से मजदूर थे और किसी तरह परिवार का भरण पोषण करते थे।मामले में मृतक की पत्नी का कहना है कि उनके पुत्र शुभम सिंह से ग्राम सैयदपुर गुरधपा थाना हरगांव जनपद सीतापुर के रहने वाले प्रमोद वर्मा पुत्र अज्ञात की पुत्री पुष्पा उर्फ भावना जो कई वर्षों से मृतक के घर से आना जाना था। लड़की पक्ष के माता पिता व अन्य पुत्री भी आया जाया करती थी और पुष्पा उर्फ भावना करीब 10 से 15 दिन तक मृतक के घर रहती थी। मृतक के पुत्र शुभम सिंह व पुष्पा उर्फ भावना एक दूसरे से लगभग 1 सप्ताह पूर्व राजी होकर मंदिर में शादी कर ली थी। शादी का दबाव लड़की द्वारा ही बनाया गया था जिसमें लड़की के माता-पिता की रजामंदी थी। शादी के दूसरे दिन लड़की के माता-पिता, मामा एवं मौसा आदि लोग घर आकर शादी का विरोध किया और धमकी दी कि यदि लड़की को वापस नहीं किया तो गंभीर परिणाम उठाना पड़ेगा और लखीमपुर से वापस जाकर मामले में लड़की के परिजनों द्वारा थाना हरगांव जनपद सीतापुर में शिकायत दर्ज करा दी।लड़की के परिजनों द्वारा की गई शिकायत के आधार पर थाना हरगांव पुलिस के द्वारा जिसमें लड़की और लड़के तथा लड़के के पिता महेश सिंह को थाना हरगांव पुलिस के द्वारा पकड़कर बन्द कर दिया गया जहाँ मृतक के मोहल्ले के लोग हरगांव थाना जाकर महेश को छुड़ा लाये लेकिन लड़के और लड़की को हरगांव थाने में करीब 5 दिन तक बंद रखा गया। मृतक महेश सिंह थाना हरगांव पुलिस व परिजनों से मिलकर बात की जिसमें परिजनों ने कहा कि यदि आप एक लाख रुपये दो तब समझौता कर लूंगा और आपको लड़की वापस मुझे सौंपनी होगी।परिजनों के साथ उनके रिश्तेदारों द्वारा भी थाने के बाहर मृतक महेश सिंह से रुपयों की मांग की जाती रही।जिससे मृतक महेश सिंह मानसिक परेशान होकर थाना हरगांव से वापस आए और घर के अंदर दिनांक 12 अक्टूबर 2021 की रात करीब 10 बजे के लगभग फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली।उक्त घटना की जानकारी जब सोशल मीडिया के जरिए सीतापुर पुलिस को लगी तो हरगांव थाने के पुलिस ने आनन-फानन में मृतक के पुत्र शुभम सिंह जो कि थाना हरगांव में लगभग 5 दिनों से बंद थे जिनको थाना हरगांव पुलिस द्वारा सुबह करीब 4 बजे एलआरपी चौराहे पर छोड़ दिया गया और लड़की को भी थाने से छोड़ दिया।जब शुभम अपने घर पहुंचा तो लोगों को इकट्ठा देखकर परेशान हो गया और घर के अंदर आने पर देखा तो अपने पिता की मृत्यु का समाचार मिला।मृतक महेश सिंह की घटना की जानकारी जब कोतवाली सदर पुलिस और एलआरपी पुलिस को हुई तो उन्होंने शव को अपने कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया जहां पर पीएम होने के बाद परिजनों ने उनका अंतिम संस्कार कर दिया है।मृतक की पत्नी जो नेत्रहीन है वह अब दर दर की ठोकरें खाने पर मजबूर है क्योंकि उसके गुजर बसर का जरिया केवल मृतक महेश सिंह ही थे और लड़का डरा सहमा हुआ है और मृतक की पत्नी न्याय के लिए सबके हाथ जोड़ रही है।


Discover more from New India Times

Subscribe to get the latest posts to your email.

By nit

This website uses cookies. By continuing to use this site, you accept our use of cookies. 

Discover more from New India Times

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading