राजस्थान में बीजेपी को झटका: राजस्थान के कद्दावर भाजपा नेता पूर्व विधायक सगीर अहमद ने पार्टी छोड़ा | New India Times

अशफाक कायमखानी, जयपुर (राजस्थान), NIT:राजस्थान में बीजेपी को झटका: राजस्थान के कद्दावर भाजपा नेता पूर्व विधायक सगीर अहमद ने पार्टी छोड़ा | New India Times

भाजपा की तरफ से राजस्थान में मजबूत सतंभ के तौर पर पहचान बना चुकी पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को लेकर पिछले एक अर्से से खबर आ रही थी कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी व पार्टी अध्यक्ष अमीत शाह की जोड़ी ने राजस्थान के लोकसभा उम्मीदवार चयन को लेकर राजे को पूरी तरह से साईड लाईन कर रखा है। इस दौरान राजे के काफी करीबी व उनके गृह शहर धौलपुर निवासी पूर्व विधायक सगीर अहमद ने भाजपा नेताओं पर गम्भीर आरोप लगाते हुये पार्टी छोड़ने का ऐहलान करके सियासी पारे को एकदम से उछाल दिया है।
राजस्थान राज्य वक्फस विकास परिषद के अध्यक्ष रहे सगीर अहमद ने अपने तीन दर्जन नेताओं के साथ भाजपा छोड़ते समय कहा कि भाजपा में अब कार्यकर्ताओं के मन की बात नहीं सूनी जा रही है जबकि इसके विपरीत प्रधानमंत्री द्वारा रेडियो पर मन की बात सूनाई जाने पर उन्होंने अफसोस जताया साथ ही देश को जात-पात व धर्म के नाम पर बांटने का आरोप भी लगाया है। पूर्व विधायक सगीर अहमद ने राष्ट्रीय नेतृत्व पर आरोप लगाया कि प्रधानमंत्री आज जहां जहां जा रहे है वहां केवल जुमले फेंक रहे हैं तभी जनता भाजपा को जुमला पार्टी कहने लगी है। उन्होने भाजपा को केवल मोदी व शाह तक सीमित होना बताते हुये कहा कि 2014 के लोकसभा चुनाव में राजस्थान की पच्चीस की पच्चीस सीटें भाजपा के खाते मे डालने वाली तत्तकालीन मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को पिंजरे में कैद कर दिया गया है। सगीर अहमद ने भाजपा के विधायक हनुमान बेनीवाल की पार्टी के साथ गठबंधन करने पर भी सवाल उठाते हुये कहा कि राजे के पांच साल तक खिलाफ बोलने वाले बेनीवाल के साथ गठबंधन करने से यह लगता है कि भाजपा में अब सब कुछ मोदी व शाह ही हो चुके हैं।

राजनीतिक सूत्र बताते हैं कि वसुंधरा राजे को अलग थलग करने के लिये मोदी-शाह की जोड़ी ने अपने खासम खास केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर, अविनाश खन्ना व सुधींद्र सहित अनेक नेताओं को राजस्थान में तैनात कर रखा है। वसुंधरा राजे चुनाव प्रचार में भी कहीं नजर नहीं आ रही हैं जबकि पहले दौर का मतदान 29-अप्रैल को होना है। राजे की टिकट वितरण व चुनाव प्रचार में अनदेखी होने का दर्द उनके खास समर्थकों में बराबर बढता हुआ देखा जा रहा है जिसका पहला उदाहरण खूले तौर पर राजे के करीबी पूर्व विधायक सगीर अहमद के त्याग पत्र के रुप में सामने आ चुका है।
भाजपा की नीतियों व मौजूदा हालात से तंग आकर राजस्थान के अनेक दिग्गज भाजपा नेताओं ने भाजपा छोड़कर यह सिद्ध कर दिया है कि अब भाजपा में सब कुछ ठीक नहीं चल रहा है। धौलपुर के रहने वाले दिग्गज भाजपा नेता पूर्व विधायक सगीर अहमद से पहले दिग्गज भाजपा नेता रहे पूर्व मंत्री घनश्याम तिवाड़ी व बीकानेर सम्भाग के बडे नेता पूर्व मंत्री देवीसिंह भाटी ने भी भाजपा को अलविदा कह दिया है।


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