राष्ट्रीय मानवाधिकार एवं महिला बाल विकास आयोग के सदस्यों ने की झकनावदा में राष्ट्रीय पक्षी मोर के लिए मोर अभ्यारण केंद्र बनाने की मांग | New India Times

रहीम शेरानी, ब्यूरो चीफ, झाबुआ (मप्र), NIT:राष्ट्रीय मानवाधिकार एवं महिला बाल विकास आयोग के सदस्यों ने की झकनावदा में राष्ट्रीय पक्षी मोर के लिए मोर अभ्यारण केंद्र बनाने की मांग | New India Times

झाबुआ जिले के ग्राम झकनावदा में करीब 300 से 400 मोर की संख्या है, नगर में बड़ी संख्या में राष्ट्रीय पक्षी मोर होने के बावजूद इस ओर प्रशासन का कोई ध्यान नही है। यहां राष्ट्रीय पक्षी बड़ी संख्या में होने के बावजूद भी शासन, प्रशासन का इस ओर ध्यान नही है इस लिए ध्यान आकर्षित करा रहे है क्योंकि बड़ी संख्या में राष्ट्र पक्षी मोर होने से वन विभाग के कर्मचारी की लापरवाही के कारण मोर जंगल से निकल कर सड़क किनारे आ जाते हैं जिसके चलते मोरों को जंगली जानवरों का शिकार बनना पडता है।
अगर प्रशासन अपना ध्यान इस ओर आकर्षित करे तो ग्राम झकनावदा के समीपस्थ की शासकीय भूमि खाली पड़ी है, उस पर मोर अभ्यारण केंद्र बन सकता है जिससे राष्ट्रीय पक्षी मोर सुरक्षित तो रहेंगे साथ ही उसके खाने-पीने की पर्याप्त व्यवस्था भी हो सकेगी। इस विषय को लेकर राष्ट्रीय मानवाधिकार एवं महिला बाल विकास आयोग के सदस्यों ने एक आवेदन के माध्यम से कुछ समय पहले प्रशासनिक स्तर पर तत्कालीन ज़िलाधीश आशीष सक्सेना से झकनावदा प्रवास के दौरान मिलकर लिखित में अवगत करवा गया था तब श्री सक्सेना ने आश्वासन भी दिया था कि आपकी अच्छी पहल है और राष्ट्रीय पक्षी मोर की रक्षा करना हमारा कर्तव्य भी बनता है और हम वन विभाग और पटवारी को बोलकर जमीन दिखवाते हैं लेकिन आज तक इस ओर किसी ने ध्यान नहीं दीया। ग्रामीणों की मांग है कि झकनावदा में मोर अभ्यारण केंद्र होना चाहिए ताकी राष्ट्रीय पक्षी सुरक्षित रहें। यही सच्ची देश भक्ति होगी।


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