जमशेद आलम, ब्यूरो चीफ, भोपाल (मप्र), NIT:
दिनांक 28/09/24 को शाम करीब 06/00 बजे एक राहगीर व्यक्ति द्वारा महिला थाने पर पहुंच कर सूचना दी गई कि एक महिला बहुत देर से होमगार्ड कार्यालय के गेट के बाहर बैठी रो रही है। तत्काल महिला थाना प्रभारी निरी शिल्पा कौरव द्वारा महिला थाने से स्टाफ भेज कर महिला को थाने लाया गया।
महिला का नाम पता पूछने के अथक प्रयास किये गए परंतु महिला अपना नाम नहीं बता सकी। काफी प्रयास करने के बाद महिला द्वारा स्वयं का नाम संतोषी चौकसे पति शंकर चौकसे निवासी नदीम प्रेस रोड लखेरा पुरा बताया गया। बाद हमराह स्टाफ उक्त महिला को लेकर निरी शिल्पा कौरव गंज चौक पहुंची जहां शंकर चौकसे के संबंध में कोई जानकारी प्राप्त नही हो सकी बाद नदीम प्रेस रोड पहुंचने पर भी जानकारी प्राप्त नहीं हुई।
महिला को लोगों द्वारा नहीं पहचाना गया। बाद चौरसिया समाज मंदिर के पास पहुँचने पर मंदिर के पुजारी से बात की जिन्होंने महिला को पहचान कर बताया गया कि यह महिला श्रीकांत चौकासे नामक व्यक्ति के साथ मंदिर आती हैं जो इनके भाई है। पुजारी जी द्वारा श्रीकांत चौकसे का मोबाइल नंबर प्रदान किया गया। श्रीकांत चौकसे से उनके मोबाइल नंबर पर संपर्क कर उनकी बहन के बारे में पूछताछ की गई, जिन्होंने बताया कि उनकी बहन का नाम श्रीकांता चौकसे पति शंकर दयाल मालवीय निवासी बैतुल है। जो मानसिक रोगी है, सुबह 09/30 बजे से किसी को कुछ बताये बिना कहीं चली गई है।
श्रीकांत द्वारा यह भी बताया गया कि 08 दिवस पहले इलाज के लिए बैतुल से यहाँ आई है उनका इलाज भी चल रहा है। श्रीकांता को सुबह से हर जगह, मंदिरों मैं भी ढूंढ चुके हैं। ढूढने के बाद रिपोर्ट लिखाने जाने वाले थे। श्रीकांत को चौरसिया समाज मंदिर आने के लिए पाबंद किया। श्रीकांत मंदिर में उपस्थित आये। महिला को उनके द्वारा अपनी बहन के रूप मे पहचाना गया। श्रीकांता चौकसे को उनके भाई श्रीकांत चौकसे के सुपुर्द किया गया। मानसिक विक्षिप्त महिला को समय रहते, कोई अप्रिय घटना घटित होने के पूर्व सकुशल परिजनों तक पहुंचाया गया।
Discover more from New India Times
Subscribe to get the latest posts sent to your email.