नरेन्द्र कुमार, ब्यूरो चीफ़, जलगांव (महाराष्ट्र), NIT:
कहते हैं नियती किसी को नहीं छोड़ती, इतिहास अपने आप को कहीं न कहीं दोहराता ज़रूर है। जलगांव की राजनीति में ठीक ऐसा हि हो रहा है, भाजपा को त्यागकर शिवसेना (UBT) में शामिल हुए पूर्व सांसद उन्मेष पाटील ने सहकार नीति को लेकर गिरीश महाजन से पूछे सवालों के जवाब में भाजपा ने महाजन द्वारा पाटील पर किए गए राजनीतिक अहसानों का अहसास दिलाया। ठीक ऐसा हि प्रसंग वरिष्ठ भाजपा नेता एकनाथ खडसे के NCP (अविभाजित) में शामिल होने से पहले और बाद में खड़ा हुआ था। खानदेश में भाजपा को जनजन तक पहुंचाने वाले खडसे को उनका योगदान पूछा गया।
महाजन विरोधी कथित टिप्पणियों से आहत होने का दावा करने वाले नवजात भाजपाइयों ने खडसे की छबि को जूता मारो आंदोलन किया। खडसे के भाजपा छोड़ने का कारण बने गिरीश महाजन की जगह आज उन्मेष पाटील खड़े हैं और खडसे की भूमिका में महाजन हैं। बस फ़र्क इतना है कि महाजन ने नहीं बल्की उन्मेष पाटील ने भाजपा का त्याग किया है। भाजपा केंद्रीय नेतृत्व ने खडसे की घरवापासी को हरी झंडी दे दी है जो देवेन्द्र फडणवीस एंड कंपनी के लिए खतरे की घंटी मानी जा रही है। महाराष्ट्र में 2014 से मराठा, धनगर, ओबीसी आरक्षण बहाली के आश्वासन घोटाले में फंस चुकी भाजपा का शीर्ष नेतृत्व चाहता होगा कि महाराष्ट्र विधानसभा का आगामी चुनाव ओबीसी नेता एकनाथ खडसे के नेतृत्व में लड़ा जाना चाहिए। उन्मेष पाटील पांच साल के विधायक और सांसद रह चुके हैं उनका संसदीय कार्यकाल महज दस साल का है जो काफी अभ्यासपूर्ण मालूम पड़ता है। जलगांव जिला बैंक का किसान विरोधी कामकाज, फसल बीमा योजना और कैबिनेट मंत्री के हैसियत से महाजन के कर्तव्य निर्वहन को लेकर पाटील की ओर से उठाए गए सवालों का भाजपा के पास कोई ठोस ज़वाब नहीं है। गणेश पंडालों मे छोटे छोटे बच्चो के सामने गुच्छेदार और तथ्यहीन भाषण कर भाजपा मे दाखिल तत्व अपने अपने व्हाट्सएप स्टेटस पर टमाटर जैसी गुस्सैल लाल इमोजी रखकर महाजन के प्रति अपना अतीव प्रेम भाव प्रकट करते नज़र आए। सूबे की राजनीति में एकनाथ खडसे और सुरेश जैन वो बड़े नाम हैं जिनका जलगांव जिले के बुनियादी विकास में दिया योगदान आज भी याद किया जाता है। आम लोग नेताओं से यह आशा करते हैं कि किसी के पॉलिटिकल करियर को चमकाने में किसका कितना योगदान रहा है इसके बजाय जनता से जुड़े असल मुद्दों पर बात होनी चाहिए।
Discover more from New India Times
Subscribe to get the latest posts sent to your email.