गुलशन परूथी, ब्यूरो चीफ, दतिया (मप्र), NIT:
हाई ब्लड प्रेशर, हाइपर-टेंशन अपने आप में बहुत खतरनाक स्थिति है और इसके कारण दिमाग की नस फटना आम बात है परंतु शरीर की मांस पेशियों में खून की नस का फटना, अपने आप में एक दुर्लभ घटना है।
डॉ हेमंत जैन को 9 अगस्त 2022 को डॉ ए के लिटोरिया ने फ़ोन किया कि एक मरीज जिसके पैर में (घुटने और एड़ी के बीच के हिस्से जिसे काफ मसल कहा जाता है में) पिछले 2 से 3 दिन से अचानक सूजन आयी है और उसे नसों के अंदर खून जमने की एक बीमारी डीवीटी प्रतीत हो रही है, आपके पास भेज रहा हूँ क्योंकि उसका ब्लड प्रेशर 230/140 आ रहा है। डॉ हेमंत जैन ने मरीज को देखा और उन्हें भी वही बीमारी प्रतीत हुई जो डॉ लिटोरिया ने उन्हें बताई थी। इस मरीज को पूर्व में कोई भी ऐसी बीमारी नहीं थी जिसके कारण ब्लीडिंग हो या फिर मरीज को चौट भी नहीं लगी थी।
मरीज को हाई बीपी का इलाज दिया और कुछ महत्वपूर्ण जांचें करवाने की सलाह दी गई जिसमें पैर का कलर डॉप्लर भी शामिल था।
मरीज को हाई बीपी की शिकायत लंबे समय से थी परंतु वह कोई भी दवा नहीं ले रहा था। अगले दिन यानी 10 अगस्त को जब जांचे सामने आईं तो डॉ जैन के आश्चर्य का कोई ठिकाना नहीं था क्योंकि मरीज को डीवीटी ना होकर मसल हेमाटोमा था और अन्य जांचों में ऐसा कोई कारण (जैसे ब्लीडिंग टेंडेंसी) नहीं निकला जिससे यह कहा जा सके कि यह हेमाटोमा क्यों हुआ।
जब मेडिकल साहित्य को खोजा गया तब हाई बीपी के कारण शरीर की मांसपेशियों मैं खून बहने (हेमाटोमा) के केस तो मिले परंतु यह अन्य मांस पेशियों में थे ना कि मीडियल हेड ऑफ गस्टरॉनेमिस मसल में। तब डॉ हेमंत जैन को भरोसा हुआ कि उन्हें ऐसा केस मिला है जो कि भारतवर्ष ही नहीं विश्व में भी अनोखा है। आगे इस केस को डॉ हेमंत जैन विभिन्न मेडिकल जर्नल्स में भेजने की इच्छा रखते हैं जिससे कि यह जानकारी विश्वभर के चिकित्सकों को मिल सके कि ऐसा बिरला मामला भी होता है। उपरोक्त खोज के लिए डॉ हेमंत जैन को मेडिकल कॉलेज के डीन डॉ दिनेश उदेनिया ने बधाई दी है तथा समस्त मेडिकल कॉलेज दतिया के चिकित्सकों में हर्ष व्याप्त है।
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