असहमति को कुचल डालने की सोच रखने वाली अदृश्य शक्ति की करारी हार, धी शेंदूर्णी सेकंडरी एजुकेशन को ऑप लि.सोसायटी पर संजय गरुड़ का वर्चस्व | New India Times

नरेन्द्र कुमार, ब्यूरो चीफ़, जलगांव (महाराष्ट्र), NIT:

असहमति को कुचल डालने की सोच रखने वाली अदृश्य शक्ति की करारी हार, धी शेंदूर्णी सेकंडरी एजुकेशन को ऑप लि.सोसायटी पर संजय गरुड़ का वर्चस्व | New India Times

जलगांव जिले की नामचीन शिक्षा संस्था धी शेंदूर्णी सेकंडरी एजुकेशन को ऑप लि. सोसायटी के बहु प्रतीक्षित चुनाव में संजय भास्करराव गरुड़ के नेतृत्व वाले आचार्य विद्या विकास पैनल ने एकतरफा जीत हासिल की है। इस संस्था में बीते 80 साल से आम चुनाव नहीं हुए थे। वर्तमान अध्यक्ष संजय गरुड़ और उनके बहनोई सचिव सतीष काशिद समर्थित आचार्य गजाननराव गरुड़ संस्था विकास पैनल आमने सामने लड़ा। कुल 11 संचालकों की कार्यकारिणी में एक सीट अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित थी जो सभासद और प्रत्याशी के अभाव के कारण रिक्त रखी गई है।

असहमति को कुचल डालने की सोच रखने वाली अदृश्य शक्ति की करारी हार, धी शेंदूर्णी सेकंडरी एजुकेशन को ऑप लि.सोसायटी पर संजय गरुड़ का वर्चस्व | New India Times

अन्य 10 सीटों में तीन सीटें निर्विरोध चुनी गई थी जिसमें विजय गरुड़, उज्ज्वला काशिद, देवश्री काशिद शामिल है। शेष 7 सीटों में 6 जनरल और एक NT/VJNT सीट के लिए मतदान कराया गया। कुल 38 में से 36 मतदाताओं ने वोट डाला। हमने सहकार निबंधक की ओर से ज़ारी की गई चुनाव के नतीजों की कॉपीज को पाठकों के सघन संज्ञान के लिए खबर में प्रकाशित किया है। चुनाव से पहले दोनों पैनल में कानून नियम और निज़ाम को लेकर तीव्र रसाकशी देखने को मिली।

असहमति को कुचल डालने की सोच रखने वाली अदृश्य शक्ति की करारी हार, धी शेंदूर्णी सेकंडरी एजुकेशन को ऑप लि.सोसायटी पर संजय गरुड़ का वर्चस्व | New India Times

विदित हो कि सार्वजनिक राजनीतिक जीवन में अपने खिलाफ़ उठने वाली असहमति की आवाज़ को कुचलने की सोच और संस्था पर कब्ज़ा पाने की मंशा से संस्था से किसी भी प्रकार का संबंध नहीं रखने वाले एक धनकुबेर नेताजी ने ज़िले की बड़ी बड़ी शिक्षा संस्थाओं के भीतर तोड़ो और राज करो इस नीति को अपनाते हुए काफ़ी दिलचस्पी रखने का प्रयोग आरंभ कर दिया है। शेंदूर्णी संस्था के आम चुनाव में इस धन्नासेठ नेता को मतदाताओं ने करारा जवाब दिया है।


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