अज्ञानता गरीबी की जननी है: सर सैयद अहमद खॉ, विद्यार्थियों ने लिया प्रतियोगिता में हिस्सा, हौसला अफजाई के लिए दिया गया इनाम | New India Times

मो. मुजम्मिल, जुन्नारदेव/छिंदवाड़ा (मप्र), NIT:

अज्ञानता गरीबी की जननी है: सर सैयद अहमद खॉ, विद्यार्थियों ने लिया प्रतियोगिता में हिस्सा, हौसला अफजाई के लिए दिया गया इनाम | New India Times

अज्ञानता गरीबी की जननी है, हमारी शिक्षा कैसी हो आदि नारों से वार्ड की गलियां गूंज उठीं. शिक्षाप्रद व देशभक्ति नारों से जनजागृति लाई गई. मदरसा मोहम्मदिया जुन्नारदेव में सर सैयद अहमद खान की जयंती हर्ष उल्लास से संपन्न हुई. इस अवसर पर मदरसे के विद्यार्थियों ने रैली निकाली जिसमें देशप्रेम और शिक्षा से ओतप्रोत नारे लगाए गए. सर सैयद अहमद खान के कोटेशन “अज्ञानता गरीबी की जननी है”, हमारी शिक्षा कैसी हो-एक हाथ में कुरआन दूसरे हाथ में विज्ञान हो” के नारे लगाए गए. इन नारों में कौमी एकता की झलक देखने को मिली. हिंदू मुस्लिम देश की दो आंखें हैं” आदि नारों से शहर गूंज उठा. रैली के बाद निबंध एवं भाषण प्रतियोगिता का आयोजन किया गया. प्रोग्राम के मुख्य अतिथि पूर्व एनसीसी ऑफिसर साबिर अली ने सर सैयद अहमद खान के जीवन पर प्रकाश डालते हुए बताया कि सर सैयद अहमद का संपूर्ण जीवन शिक्षा के क्षेत्र में समर्पित रहा. सर सैयद अहमद खान ने मशहूर किताब “असबाबे बगावत ए हिंद” उर्दू में लिखी जिस का अंग्रेजी अनुवाद किया गया. इस किताब में 1857 के विद्रोह के कारणों एवं अंग्रेज सरकार की हिंदुस्तान विरोधी दमनकारी नीतियों का विस्तार पूर्वक वर्णन है. सर सैयद अहमद खान ने हिंदू मुस्लिम एकता पर भी जोर देते हुए कहा था कि हिंदू और मुसलमान हिंदुस्तान की खूबसूरत दुल्हन की दो आंखें हैं. सर सैयद अहमद खान ने मुस्लिम समाज को कुरआन के साथ अंग्रेजी, साइंस की शिक्षा के लिए प्रेरित करते हुए अलीगढ़ यूनिवर्सिटी की स्थापना की. जहां आज भी अनेकों आईएस आईपीएस अधिकारी चाएनित होते हैं. जन्म उत्सव के कार्यक्रम में सर सैयद के जीवन परिचय पर निबंध एवं भाषण प्रतियोगिता में सफल प्रतिभागियों को पुरस्कार देकर सम्मानित किया गया. कार्यक्रम का मंच संचालन मोहम्मद ताहिर ने किया. इस कार्यक्रम में मुख्य रूप से सेवानिवृत्त शिक्षक जी एस खान मौलाना हमजा, हाफिज इमरान, आयशा नसीम सिद्दीकी, सैयद यासमीन, यासीन अंसारी, सिद्धिकुंनिशा, शीरीन सहित संपूर्ण टीचर स्टाफ विद्यार्थी एवं पालक गण उपस्थित थे.


Discover more from New India Times

Subscribe to get the latest posts to your email.

By nit

This website uses cookies. By continuing to use this site, you accept our use of cookies. 

Discover more from New India Times

Subscribe now to keep reading and get access to the full archive.

Continue reading