परसराम साहू, देवरी/सागर (मप्र), NIT:
देवरी की धान खरीदी पूरे जिले में अनियमितताओं एवं अमानक एवं घटिया खरीदी के लिए बदनाम रही है और अब वही धान खरीदी एक बार फिर बदनामी की ओर बढ़ चली है।
देवरी में संचालित धान खरीदी केन्द्र में अमानक एवं घटिया स्तर की व्यापारियों की धान खरीदी गई और उसे किसानों के नाम पर रजिस्ट्रेशन में भरा गया और अब उस अमानक एवं घटिया किस्म की धान खरीदी के परिणाम सामने आने लगे हैं।
देवरी में स्थित धान खरीदी केन्द्रों पर आपरेटरों ने क्षेत्र के व्यापारियों से मिलकर हजारों क्विंटल अमानक धान की खरीदी करके सरकार को लाखों रूपये का चपेट लगाने का काम किया है।
इन गारगुजारिया जब तक छुपी रही जब तक इनकी धान स्थानीय वेयर हाउस में जमा होता रहा। परंतु जैसी ही केन्द्र पर पड़ी धान का परिवहन दूसरे वेयर हाउस में जाने लगा तो सर्वेयर के द्वारा अमानक एवं घटिया किस्म का माल रिजेक्ट होने लगा। जिसकी मात्रा हजारों क्विंटल में पहुच गई।
देवरी में सबसे अधिक दो केन्द्रों का माल रिजेक्ट होने की खबर है। जिसमे कृषि उपज मंडी में संचालित देव श्री फार्म्स प्रोड्यूसर कंपनी के द्वारा खरीदी गई अमानक धान 308 मैट्रिक टन है। साथ ही दूसरे नंबर पर देवरी के जगदम्बा वेयर हाऊस में संचालित जमुनिया पंडित खरीदी केन्द्र है। जो लगातार शुरू से अमानक एवं घटिया किस्म की धान की खरीदी के लिए बदनाम रहा है। इस केन्द्र पर रिजेक्ट धान की मात्रा 289 मेट्रिक टन है।
जमुनिया पंडित खरीदी केन्द्र धान खरीदी के शुरू से ही अमानक धान खरीदी के लिए सुर्खियां में रहा है।
बीते रविवार को जमुनिया पंडित खरीदी केन्द्र पर दो ट्रक माल वेयर हाऊस के द्वारा अमानक एवं घटिया किस्म का बताकर वापस भेज दिया गया। जो रविवार को केन्द्र पर हम्माल ट्रक से उतारते दिखाई दिए।
वहीं सूत्रों की मानें तो इस केन्द्र की अभी तक 5 गाडियां रिजेक्ट होने की खबर है।
प्रशासन को चाहिए कि इस समिति के द्वारा स्थानीय वेयर हाऊस में जमा किया गए माल की भी जांच होनी चाहिए क्योंकि इतने बड़े स्तर पर माल रिजेक्ट होना बड़े भ्रष्टाचार की ओर इशारा करता है।
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