Edited by Maqsood Ali, मुंबई, NIT;
इस वर्ष 1 मई को महाराष्ट्र दिवस के अवसर पर शहर के लोगों के लिये बड़ी संख्या में एकत्र होकर और कंधे से कंधा मिलाकर कुछ घंटे ग्रामीणों के साथ काम करने का अवसर है। पुणे के सिंबायोसिस यूनिवर्सिटी इवेंट में पानी फाउंडेशन के संस्थापक श्री आमिर खान ने छात्रों और शहर के सभी लोगों से ‘जलमित्र’ बनने और सूखे के खिलाफ इस प्रयास में शामिल होने की अपील की है। jalmitra.paanifoundation.in इस लिंक पर साइन-अप कर शहर के लोग महाराष्ट्र दिवस यानि 1 मई को ग्रामीणों के साथ गांव में काम करने के लिये पंजीकृत हो सकते हैं। 1 मई के महाश्रमदान के लिये पंजीकरण की अंतिम तिथि 25 अप्रैल की मध्यरात्रि तक है।
पिछले तीन सप्ताह में जलमित्र बनने के लिये लगभग 1 लाख लोग साइन-अप कर चुके हैं। यदि आपके पास 1 मई को गांव की यात्रा करने का समय नहीं है, तो आप वाटरशेड प्रबंधन संरचनाओं के निर्माण के लिये मशीनी कार्य हेतु धन का दान भी कर सकते हैं और कुछ कामों में गांव वालों की मदद कर सकते हैं। www.paanifoundation.in पर जाएं और आपको अपने सभी प्रश्नों का उत्तर मिल जाएगा।
इस अवसर पर पानी फाउंडेशन के संस्थापक श्री आमिर खान, ने कहा, ‘‘मैं सिंबायोसिस यूनिवर्सिटी का आभारी हूं जिसने मुझे स्टूडेंट्स एवं युवाओं से जुड़ने का एक मंच दिया। मैं महाराष्ट्र के सभी युवाओं से इस नेक काम में हमारे साथ जुड़ने की अपील करना चाहता हूं ताकि महाराष्ट्र को सूखामुक्त बनाया जा सके। आईये, महाराष्ट्र दिवस के अवसर पर महाश्रमदान के साथ इसका जश्न मनायें और गांवों एवं शहरों के बीच मौजूद अंतर को कम करें। अभी तक, जलमित्र एप पर 1 लाख रजिस्ट्रेशन हो चुके हैं तथा हमें समूचे महाराष्ट्र से और सपोर्ट मिलने की उम्मीद है। मैं राज्य को सूखामुक्त बनाने के लिए हर व्यक्ति से श्रमदान करने और इस जन आंदोलन में हिस्सा लेने की गुजारिश करता हूं।‘‘
वर्ष 2016 में आमिर खान और किरण राव द्वारा शुरू की गई गैर-लाभकारी कंपनी पानी फाउंडेशन ने सत्यमेव जयते वाटर कप का आयोजन किया था। यह गांवों के मध्य प्रतिवर्श होने वाली प्रतिस्पर्धा है, जिसमें वाटरशेड प्रबंधन में सर्वश्रेश्ठ कार्य करने वाले गांवों को देखा जाता है। यह पर्याप्त जल वाले समृद्ध महाराष्ट्र के लिये एक जन आंदोलन है। पानी फाउंडेशन लोगों को वाटरशेड प्रबंधन के लिये प्रशिक्षित करता है और फिर गांव वाले अपने गांव में वाटरशेड प्रबंधन का कार्य करते हैं, जिसमें उन्हें सरकार और गैर-सरकारी संगठनों से सहायता मिलती है।
पहले दो वर्षों में लगभग 1500 गांवों ने वाटर कप में भाग लिया और 10000 करोड़ लीटर जल की भंडारण क्षमता बनाई। प्रतिस्पर्द्धा के इस तीसरे वर्ष में महाराष्ट्र के 24 जिलों के 75 तालुका के लगभग 4000 गांव भाग ले रहे हैं। राज्य स्तर पर शीर्श तीन पुरस्कार 75 लाख रू., 50 लाख रू., और 40 लाख रू. के हैं। प्रत्येक तालुका के शीर्श गांव को 10 लाख रू. का पुरस्कार मिलता है। यह प्रतियोगिता 8 अप्रैल से 22 मई 2018 तक चलेगी। यह आंदोलन तेजी से बढ़ा है और पिछले दो वर्शों में शहरों के हजारों लोगों ने इस प्रयास में योगदान देने की इच्छा जताई है। इस कार्य में लोगों द्वारा विभिन्न तरीकों से सहयोग के लिये पानी फाउंडेशन ने ‘जलमित्र’ नामक पहल की है, जिसे 22 मार्च 2018 को विश्व जल दिवस पर लॉन्च किया गया था। jalmitra.paanifoundation.in लिंक पर साइन-अप कर दुनिया का कोई भी व्यक्ति जलमित्र बन सकता है।
महाराष्ट्र में 1 मई को सत्यमेव जयते वाटर कप के सभी 75 तालुकाओं में महाश्रमदान होगा, जिसमें हजारों शहरी और ग्रामीण नागरिक जल की पर्याप्तता के लिये मिलकर कार्य करेंगे। आमिर खान ने कहा कि ग्रामीण और शहरी लोगों की इस भागीदारी से गांववालों को मदद मिलेगी और शहर के लोगों को भी पता चलेगा कि उनका भोजन, जल और श्रमिक कहाँ से आते हैं। इससे शहरों और गांवों के बीच मौजूद अंतर कम करने में मदद मिलेगी और शहरों एवं गावों के बीच ज्यादा समान एवं मानवीय संबंधों का निर्माण होगा। उन्होंने विद्यार्थियों से भी जल की कमी के विरूद्ध इस लड़ाई में भाग लेने और एक समृद्ध और खुशहाल महाराष्ट्र की दिशा मे काम करने के लिए मदद करने का आग्रह किया।
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